साक्ष्य लेखके के कर्त्तव्य / DW
प्रत्येक व्यवहार न्यायालय/दण्ड न्यायालय में एक पद साक्ष्य लेखक का होता है। जिन न्यायालयों में स्टेनाग्राफर/क्लर्क स्टेनों के पद पर नियुक्ति नहीं होती है वहां साक्ष्य लेखक को उनके कर्त्तव्य भी करने होते हैं अत: साक्ष्य लेखक स्टेनाग्राफर/ क्लर्कस्टेना के कर्त्तव्य भी ध्यान में रखे।
साक्ष्य लेखक के कर्त्तव्य निम्नानुसार हैं-
1 गवाह द्वारा दिया गया कथन पीठासीन अधिकारी महोदय के निर्देश पर पूर्ण व सही टंकित करना कोई तथ्य छूटना नहीं चाहिए, यदि कोई वाक्य या शब्द समझ में न आया हो या किसी कारण से सुन न पाये हों तो उसी समय स्पष्ट करवा लेना चाहिए।
2 न्यायालय के कर्मचारीगण द्वारा लिये गये अवकाश का लेखा-जोखा रख्ना।
3 न्यायालय में किसी भी शाखा में स्टेशनरी की कमी न रहे इसका विशेष ध्यान रखना, यक्तियुक्त समय के पूर्व ही जजमेन्ट पेपर, डिपोजिशन सीट, कार्बन, टाईटल पेज, रिबन कार्टेज आदि का मांग पत्र भेज कर उन्हें मंगवाना सुनिश्चित करना।
4 जहॉं कम्प्यूटर की सुविधा है वहॉं युक्तियुक्त समय के पूर्व रिबन/कार्टेज मंगवाना।
5 न्यायालय की लाईब्रेरी मेन्टेन करना , यद्यपि नियम 687 म0प्र0 नियम एवं आदेश आपराधिक के अनुसार यह कर्त्तव्य प्रस्तुतकार का बतलाया गया है , प्रस्तुतकार के पास जहां पूर्व से अधिक कार्य हो वहां साक्ष्य लेखक को यह कर्त्तव्य दिया जाना चाहिए।
6 साक्ष्य लेखक का ध्यान नियम 687 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक की ओर दिलवाया जाता है जिसमें पुस्तकों की सूची निर्धारित प्रारूप में रखने के निर्देश हैं-
नियम 687 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक अनुसार न्यायालय की विधि की पुस्तकों की एक सूची निम्न प्रारूप में हस्तलिखित होगी-
अनुक्रमांक -पुस्तक का शीर्षक तथा लेखक का नाम---प्राप्ति का दिनांक---रिमार्क
रिमार्क कालम पर आप पेन्सिल से किताब को देने और प्राप्त होने की इन्टी कर सकते हैं
7 साक्ष्य लेखक का ध्यान नियम 689 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक की ओर दिलवाया जाता है जिसमें नई पुस्तक आने पर उसको प्रविष्टि करने के निर्देश हैं और यदि कोई विधिक पुस्तक दी जाती है या इष्यू की जाती है तो रिमार्क कालम में पेन्सिल से प्रविष्टि करने के निर्देश है और पुस्तक वापस प्राप्त होने पर पेन्सिल की प्रविष्टि को मिटा देने के निर्देश हैं।
साक्ष्य लेखक को यदि सुविधाजनक हो तो इश्यू की गई विधि पुस्तक के संबंध में एक अलग पंजी भी मेन्टेन कर सकते हैं।
8 साक्ष्य लेखक का ध्यान नियम 691 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक की ओर दिलाया जाता है । वह यह देख लें कि इस नियम में उल्लेखित पुस्तके लाईब्रेरी में है या नहीं और यदि नहीं हो तो उन्हें पीठासीन अधिकारी के माध्यम से नियमानुसार मंगवाने की कार्यवाही करें।
साक्ष्य लेखक का ध्यान इस ओर दिलाया जाता है कि वह पीठासीन अधिकारी के निर्देश पर नेय अधिनियमों और न्यायालय के उपयोग में आने वाली पुस्तकों की सूची तैयार करे औरउसे मंगवाने की कार्यवाही करे।
9 साक्ष्य लेखक का ध्यान नियम 692 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक की ओर दिलाया जाता है जिसमें प्रत्येक book पर उसके मुख्य पृष्ठ पर किये जाने वाले पृष्ठांकन का उल्लेख है-
नियम 692 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक- ग्रंथालय कर्मचारी या कर्मचारी जो भी पद पर हो वह -
1 प्रत्येक पुस्तक के पहले पेज पर कार्यालय की मुद्रा या न्यायालय की मुद्रा लगायेगा।
2 प्रत्येक पुस्तक के पीछे पुस्तक की सूची का क्रमांक चिपकायेगा
3 प्रत्येक वर्ष जनवरी में सूची की जांच पुस्तकों से करेगा तथा अधीक्षक अथवा न्यायालय को रिपोर्ट करेगा कि पुस्तकें पूरी तथा अच्छी हालत में हैं या नहीं हैं।
4 कोई संशोधन हो तो वह लगायेगा।
10 साक्ष्य लेखक का ध्यान नियम 694 म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक की ओर दिलाया जाता है कि साक्ष्य लेखक को समय समय पर लाईब्रेरी की पुस्तकों की जांच करना चाहिए और गुम और क्षतिग्रस्त पुस्तकों के बारे में पीठासीन अधिकारी को प्रतिवेदन देना चाहिए।
11 साक्ष्य लेखक को म0प्र0नियम एवं आदेश आपराधिक नियम 685 से 695 तक लाईब्रेरी मेन्टेन करते समय ध्यान से पढ़ लेना चाहिए।
12 जिन स्थानों पर साक्ष्य लेखक के अलावा अन्य कर्मचारी को लाईब्रेरी मेन्टेन करने का कर्त्तव्य सौंपा जाता है , वहां उन कर्मचारियों का उक्त नियम ध्यान में रखना चाहिए।
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